आज मैं लिखने जा रहा हूँ Sad love story in hindi के समूह की कहानी जो की real love story in hindi के उपसमूह की है।
आज ऑफिस से जल्दी छुट्टी मिल गयी थी, तो आज घर पर आकर थोड़ा आराम करने का सोची। घर पहुंच कर कपड़े बदलने के बाद मैं सोफे पर बैठी ढलते हुए सूरज को देख रही थी।
ऐसा लग रहा था, जैसे लाल गेंद को किसी बच्चे ने ऊपर उछाल दिया था.. और अब वो धीरे धीरे नीचे गिर रही है। सूरज की रोशनी कम हो रही थी और और मेरी आँखें नम।
इस सूरज ने आज उसकी याद दिला दी थी। जिसके साथ ज़िन्दगी बिताने के सारे वादों का सूरज कबका डूब चुका था।
ऐसी ही तो शाम थी वो… जब मुझसे वो आखिरी बार मिला था। सच कहूं तो उस नीली शर्ट में वो खूब जचता था।
पर उस दिन उसका चेहरा…. उसको जैसे खूबसूरत दिखाने का मन नही बना पाया था। उसका चेहरा उतरा हुआ था।
पास आते ही मैंने उससे पूछा क्या हुआ बंदर जैसा मुह क्यों बनाये हो? पर शायद वो मज़ाक के मूड में नही था। उसने कहा कुछ नही बस इतना जान लो कि ये हमारी आखिरी मुलाकात है।
मुझे ऐसा लगा जैसे सूरज ढल चुका है और चारो तरफ अंधेरा हो चुका है और अंधकार के राक्षस मुझे मारने के लिए चारो तरफ से घेरे खड़े हैं।मैं सदमे से बाहर निकली तो पूछा ऐसा क्यों कह रहे हो तुम?
क्या कोई गलती हो गयी मुझसे? तुम जानते हो न मेरी ज़िंदगी तुम्ही से है! और तुम मुझसे मेरी ज़िंदगी छिनने की बात कर रहे हो! बात क्या है आखिर बताओ तो?
अपने सिर को ऊपर उठाते हुए बोला मैं दूसरे शहर जा रहा हूँ पापा का ट्रांसफर हो गया है। मेरे जान में थोड़ी जान आयी मैंने कहा बस इतनी सी बात! क्या हुआ हम कभी कभी मिल लेंगे जब कभी तुम फ्री होना तो आ जाना मिलने।
मैंने उतना ध्यान तो नही दिया पर शायद उसकी आँखों मे आंसू थे। उनको छिपाते हुए बोला ठीक है। सच कहूं तो पता ही नही वो आंसू उसके आंखों में थे या मेरे क्योंकि आंखें तो मेरी भी नम थी।
ऐसा लग रहा था मानो ज़िन्दगी थम सी गयी हो। उसने पलटते हुए कहा तुम फिक्र मत करना बस मेरा इंतज़ार करना मैं आऊंगा।
इंतज़ार…….कितना झूठा था वो, 2 साल बाद भी वो न मिलने आया न ही उसका कोई पत्र। शायद अब मैं उम्मीद भी छोड़ चुकी थी। शायद मुझे पता चल चुका था कि वो अब नही आएगा।
एक दिन मैं बैठी किताब पढ़ रही थी जो कि उसने ही दी थी। आखिरी मुलाकात के 1 हफ्ते पहले, अचानक से उसमे से एक पेज गिरा जिसपर शायद कुछ लिखा था मैंने उसे उठाया और पढ़ना शुरू किया।
जानती हो शिल्पा मैंने तुमसे ऐसा क्यों कहा था कि इस गिफ्ट को अगले महीने खोलना क्योंकि इसमें ये पत्र था।
शायद आखिरी पत्र.. मैं जानता हूँ कि तुम्हारे सामने मैं ये कभी नही कह पाऊंगा की मैं अब हमेशा के लिए जा रहा हूँ। क्योंकि मेरी शादी तय हो गयी है पापा की पसंद है।
उनको मैंने हमारे बारे में बताया लेकिन वो नही माने मेरे पास अब और कोई रास्ता नही है। ये बात तुम्हारे सामने कह नही पाऊंगा इसलिए पत्र में लिखा है।
और शायद ये मेरा आखिरी पत्र भी है तुम्हारे लिए । और हां शादी मेरी चाहे जिससे हो दिल मे तुम्ही रहोगी।
तुम्हारा प्यार- विजय
शायद ये पत्र मुझे पहले मिलता तो मैं रोती लेकिन पत्र की वो आखिरी लाइन ने मुझे नई जिंदगी दे दी थी,
मुझे लगता था कि मेरा प्यार झूठा था उसने मुझे धोखा दिया लेकिन आज एहसास हुआ कि वो सच्चा था मेरा प्यार सच्चा था और शायद ज़िन्दगी के लिए इतना काफी था।
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One reply on “Sad love story in hindi :real love story in hindi(मेरा सच्चा प्यार)”
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